Saturday, April 28, 2007

आसान रास्ते

आसान रास्ते कोई और चुने
उन पर कोई और चले।
मुझे चािहए वह रास्ता िजसमें
काँटें हों, कंकर और पत्थर हों
जो भयानक जँगलों से गुज़रे -
उस पार कोई ऐसा सूरज है
कोई ऐसी दुिनया है
जो िकसी ने नहीं देखी है।
शायद मैं मर जाऊँ,
घायल हो कर िगर जाऊँ।
तो क्या?

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